बोलता गांव डेस्क।।
नवा रायपुर में चल रहे किसानों के आंदोलन के बीच एक किसान की मौत हो गई। एनआरडीए दफ्तर के पास चल रहे किसानों की इस आंदोलन ने शुक्रवार को पैदल मार्च निकाला गया था। सभी किसानों को बैरिकेडिंग लगाकर पुलिस ने रोक लिया । सड़क पर ही धरना देने के दौरान सियाराम पटेल नाम के 66 साल के किसान बेहोश होकर गिर पड़े।
आसपास मौजूद मेडिकल टीम ने उनकी स्थिति का जायजा लिया। सियाराम की स्थिति गंभीर थी, कुछ ही देर बाद खबर आई कि सियाराम पटेल की मौत हो चुकी है। ये बुजुर्ग किसान सियाराम पटेल नवा रायपुर इलाके के बरोदा गांव के किसान थे। इनकी जमीन भी नया रायपुर डेवलपमेंट अथॉरिटी ने ली थी। अपनी जमीन पर मुआवजे रोजगार और अन्य सुविधाओं की मांग को लेकर पिछले 60 दिनों से सियाराम भी इस धरना प्रदर्शन में शामिल थे।
बरौदा गांव के सरपंच सीमा रहीस बंदे ने बताया कि अचानक गिर जाने के बाद सभी लोग सियाराम को पास ही स्थित बालको अस्पताल लेकर गए। जहां उनकी मौत हो चुकी है । फिलहाल बताया जा रहा है कि हार्ट अटैक आने की वजह से बुजुर्ग की मौत हुई होगी। सियाराम के साथ प्रदर्शन कर रहे किसानों ने बताया कि दिन भर कड़ी धूप में खुली सड़क में धरना दे रहे सियाराम अचानक बेहोश और उनकी तबीयत इस कदर बिगड़ी कि उन्हें अस्पताल ले जाया गया। मौत के पीछे की वजह की छानबीन अब पुलिस और जिला प्रशासन करेगा।
इस मामले में भाजपा के पूर्व मंत्री और प्रदेश प्रवक्ता राजेश मूणत ने सीधे कांग्रेस सरकार पर प्रहार किया है। पूर्व मंत्री ने किसान की मौत के बाद कांग्रेसी नेताओं पर सीधे प्रताड़ना के तहत मृत्यु का मामला दर्ज करने की मांग की है। सोशल मीडिया में मामला शेयर करते हुए पूर्व मंत्री ने कहा कि आज की स्थिति में आंदोलनकारी किसान जान गवा रहे हैं। एक किसान की मौत के बाद कांग्रेसी नेताओं पर प्रताड़ना के तहत मौत होने का मामला दर्ज किया जाना चाहिए।