ओम बिरला चुने गए 18वीं लोकसभा के स्पीकर, ध्वनिमत से हुआ फैसला, राहुल-अखिलेश ने भी दी बधाई
18वीं लोकसभा के स्पीकर के लिए ओम बिरला और के. सुरेश के बीच मुकाबला था। संख्या बल देखते हुए ओम बिरला की जीत तय मानी जा रही थी। सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच सर्वसम्मति नहीं बनने के कारण इस बार चुनाव की नौबत आई। 1976 के बाद यह पहला मौका रहा, जब स्पीकर के लिए चुनाव कराया गया
बता दें, सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच आम सहमति नहीं बनने के बाद चुनाव की नौबत आई थी। पांच दशक बाद यह पहला मौका रहा, जब ध्वनिमत या वोटिंग से स्पीकर का चुनाव हुआ। इससे पहले 1952 और 1976 में लोकसभा अध्यक्ष के लिए मतदान हुआ था।