विश्व के अनेक देशों के साथ ही साथ भारत के विभिन्न राज्यों में कोरोना का संक्रमण तेजी से फैलता जा रहा है। देश और प्रदेश में कोरोना के नियंत्रण को लेकर शासन-प्रशासन द्वारा तमाम तरीके अपनाएं जा रहे है ताकि जल्द से जल्द कोरोना के संक्रमण पर काबू पाया जा सके। कोरोना के बचाव हेतु लोगो को मास्क पहनने, सोशल डिस्टेंगिंग बना के रखने, सेनिटाइजर का उपयोग और वैक्सिनेशन पर जोर दे रही है। इसी बीच कोरोना उपचार में अमेरिका स्थित 'मायो क्लिनिक'(Mayo Clinic Health System) छत्तीसगढ़ को मदद करने की बात सामने आ रही है।
बीते दिनों इस विषय पर छत्तीसगढ़ शासन में स्वास्थ्य मंत्री टी.एस. सिंहदेव ने अमेरिका के मायो क्लीनिक के प्रतिनिधि से बात की है।
स्वास्थ्य मंत्री टी एस सिंह देव जी ने बताया कि छत्तीसगढ़ में मायो क्लीनिक संस्थान के माध्यम से हम स्वास्थ्य क्षेत्र में किस प्रकार कार्य कर सकते हैं इस पर विस्तृत बातचीत हुई। उन्होंने कहा कि इस चर्चा के दौरान संस्था में कार्यरत भारतीय मूल के लोगों ने संकट की इस घड़ी में भारत के लिए कार्य करने की इच्छा जाहिर की जिसे जानकर अत्यंत प्रसन्नता हुई।
कोरोना के संक्रमण को मद्देनजर रखते हुए मेयोक्लीनिक के प्रतिनिधि से वर्तमान व्यवस्थाओं को बेहतर बनाने, घरों से अस्पताल तक पहुंचने की व्यवस्था, घरों में रहते समय प्रबंधन की व्यवस्था एवं आईसीयू में प्रबंधन समेत अन्य महत्वपूर्ण विषय पर भी चर्चा की गयी, जिसमें उन्होंने सहर्ष अपने अनुभव साझा करते हुए आगामी समय में सुझाव भेजने का उल्लेख किया है।
बैठक में निर्णय लिया गया कि मेयो क्लिीनिक के डाॅक्टरों द्वारा छत्तीसगढ़ के चिकित्सकों और पैरामेडिल स्टाफ को प्रशिक्षण दिया जायेगा। इसके अतिरिक्त राज्य के चिकित्सक, छत्तीसगढ़ के मरीजों के संबंध में मेयो क्लिीनिक के डाक्टरों के साथ चिकित्सकीय परामर्श भी कर सकेंगे। इस सहयोग से छत्तीसगढ़ के कोरोना मरीजों को बड़ा लाभ मिलेगा। बैठक में चिकित्सा महाविद्यालय रायपुर के विशेषज्ञ चिकित्सक डाॅ. ओ. पी. सुंदरानी, डाॅ. योगेश और विभाग के वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे
अंतरराष्ट्रीय संस्था मेयोक्लीनिक में लगभग चार से पांच हज़ार प्रॉफेशनल वैज्ञानिक एवं चालीस से पचास हज़ार अन्य कर्मी जुड़े हुए है,यह संस्थान तीन प्रतिष्ठानों के द्वारा अलग-अलग शहरों में अपना कार्य करती है।
Make sure you enter all the required information, indicated by an asterisk (*). HTML code is not allowed.